डॉन अबू सलेम पर फर्जी पासपोर्ट के मामले में CBI स्पेशल कोर्ट में बयान दर्ज हुआ है। विशेष न्यायिक मजिस्ट्रेट समृद्धि मिश्र के सामने दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 313 के तहत अबू सलेम का बयान दर्ज किया गया। इस मामले की अगली सुनवाई के लिए चार अगस्त की तारीख तय की गई है। सलेम को कड़ी सुरक्षा के बीच नवी मुंबई की तलोजा जेल से स्पेशल CBI कोर्ट में पेश होने के लिए लाया गया था।
जानकारी के मुताबिक, आरोपी अबू सलेम उर्फ अब्दुल कयूम अंसारी ने साल 1993 में अपने साथियों परवेज आलम और समीरा जुमानी के साथ मिलकर लखनऊ पासपोर्ट कार्यालय में अकील अहमद आजमी के नाम से पासपोर्ट के लिए आवेदन दिया था। आरोपी ने इस आवेदन के साथ फर्जी नाम व पते के कूटरचित दस्तावेज लगाए और पासपोर्ट हासिल कर इस्तेमाल किया था।
वहीं फर्जी पासपोर्ट बनवाने मामले में अबू सलेम की मदद करने वाला परवेज आलम नाम का अभियुक्त भी अदालत में उपस्थित रहा और अपने बयान भी रिकॉर्ड करवाए। 1993 में मुंबई में हुए सीरियल बम ब्लास्ट के बाद डॉन अबू सलेम अपनी कथित पत्नी समीरा जुमानी के साथ भारत से फरार हो गया था और जब मामले की जांच हुई तो पता चला अबू सलेम और उसकी पत्नी फर्जी पासपोर्ट बनवा कर भारत से भागे हुए हैं और पासपोर्ट पर नाम बदलवाकर यात्रा कर रहे हैं।
अबू सलेम का अकली अहमद आजमी तो समीरा जुमानी का सबीना आजमी के नाम से पासपोर्ट बना था। जिसके बाद पासपोर्ट अधिनियम की धारा 12(1)बी के अलांवा 420, 467, 468, 471,120 बी के तहत मुकदमा दर्ज किया गया था। 16 अक्टूबर, 1997 को CBI ने इस मामले की एफआईआर दर्ज कर जांच शुरू कर दी थी। फर्जी पासपोर्ट मामले में माफिया डॉन अबू की पत्नी समीरा जुमानी भी आरोपी है। लेकिन वह फरार चल रही है। सरकार ने समीरा के खिलाफ रेड कॉर्नर नोटिस जारी किया हुआ है।
इस मामले की विवेचना के बाद CBI ने चार्जशीट दाखिल की थी। इस पर संज्ञान लेने के बाद कोर्ट ने आरोपी अबू सलेम पर 5 जून 2009 को आरोप तय किए थे। इसके बाद अभियोजन पक्ष ने गवाई दर्ज कराई और अब आरोपी का बयान दर्ज किया गया।
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