लाखों की आर्थिक अनियमितताओं व अनधिकृत कार्य की जांच में फंसे भोज (मुक्त) विश्वविद्यालय के प्रोफेसर डॉ. प्रवीण जैन के खिलाफ एक बार फिर जांच शुरू हो गई है। वे 2017 से निलंबित चल रहे हैं। डॉ. जैन ने हाईकोर्ट में जांच अधिकारी और प्रस्तुतकर्ता अधिकारी बदलने के लिए याचिका दायर की थी। सिंगल बैंच ने इनको राहत दी, लेकिन इसके विरूद्ध विवि प्रशासन डबल बैंच में पहुंचा। यहां विवि के पक्ष में निर्णय आया। इसके चलते इनके खिलाफ दोबारा से जांच शुरू हुई है।
यह जांच रिटायर्ड डिस्ट्रिक्ट जज अनिल पारे और रिटायर्ड एडीजी आरके गुप्ता द्वारा की जा रही है। मामले में डाॅ. जैन काे 3 नवंबर को बयान के लिए बुलाया था, लेकिन उन्होंने जांच अधिकारी को पत्र लिखकर कहा कि वे कोरोना संक्रमण से पीड़ित हैं, इसलिए स्वस्थ होने के बाद ही उपस्थित हो सकेंगे। साथ ही कहा कि वे 3 नवंबर को ही हमीदिया अस्पताल से डिस्चार्ज हुए हैं।
मुझे कोई नोटिस नहीं मिला
मेरे खिलाफ दोबारा शुरू की गई जांच की मुझे जानकारी नहीं दी गई, लेकिन हाईकोर्ट के डबल बैंच के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है। दूरभाष के माध्यम से मुझे जानकारी मिली तो उन्हें बताया कि मैं कोरोना से पीड़ित हूं। -डॉ. प्रवीण जैन, निलंबित प्रोफेसर, भोज मुक्त विवि
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from Dainik Bhaskar https://ift.tt/3p3pVHO November 07, 2020 at 05:01AM https://ift.tt/1PKwoAf
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