(रोहित श्रीवास्तव) खजूरीकलां में रहने वाले कोरोना संक्रमित 52 वर्षीय मरीज की तीन दिन में कोरोना की तीन जांच रिपोर्ट आई हैं। तीनों बार आरटीपीसीआर टेस्ट हुए। इनमें दो रिपोर्ट निगेटिव, जबकि एक पॉजिटिव है। डॉक्टर अब असमंजस में हैं। वे मरीज की ट्रीटमेंट लाइन तय नहीं कर पा रहे हैं।
शुक्रवार को मरीज की जांच रिपोर्ट कोविड निगेटिव आई थी। इसके बाद परिजनों की सहमति से पॉजिटिव रिपोर्ट देने वाले अस्पताल के डॉक्टरों ने शनिवार को नया सैंपल जांच के लिए भेजा। मरीज की पहली कोविड रिपोर्ट 1 अक्टूबर को फीवर क्लीनिक से पाॅजिटिव आई थी।
जेके हाॅस्पिटल में बेड से गिरने से लगी सिर में चाेट
मरीज के परिजनाें ने बताया कि जेके हाॅस्पिटल में भर्ती रहने के दाैरान एक दिन उदय पलंग से बेहाेश हाेकर फर्श पर गिर गए थे। इससे उनके सिर में चाेट लगी थी। इसके बाद अस्पताल के डाॅक्टर्स ने मरीज काे आईसीयू में शिफ्ट किया था। साथ ही 14 अक्टूबर काे एलएन मेडिकल काॅलेज की लैब से काेराेना जांच रिपाेर्ट काेविड निगेटिव आने के बाद 15 अक्टूबर काे डिस्चार्ज कर दिया था। लेकिन, तब सिर में लगी चाेट के कारण उदय काे परिजनाें काे पहचानने में परेशानी हाे रही थी। इसका इलाज कराने 15 अक्टूबर काे बंसल हाॅस्पिटल लेकर गए थे।
काेविड निगेटिव हाेने के बाद छुट्टी दी
उदय की 14 अक्टूबर काे काेराेना जांच रिपाेर्ट निगेटिव आई थी। इसके बाद 15 अक्टूबर काे उनकी अस्पताल से छुट्टी की गई। वह 5 अक्टूबर काे अस्पताल में भर्ती हुए थे। इलाज के दाैरान एक दिन पलंग से बेहाेश हाेकर वह गिर गए थे, इससे उनके सिर में चाेट आई थी।
- अनुपम चाैकसे, डायरेक्टर एलएन मेडिकल कॉलेज
एक्सपर्ट कमेंट
टेस्ट किट और मशीन अलग-अलग हाेने पर भिन्न हाे सकती है जांच रिपाेर्ट
एक काेविड मरीज की अलग-अलग तरह की जांच रिपाेर्ट तभी देखने काे मिलती हैं, जब नमूने की जांच में टेस्ट किट और मशीन अलग-अलग हाे। ट्रू नेट और आरटीपीसीआर तकनीकी की मशीन और टेस्ट किट से हुई जांच रिपाेर्ट अलग-अलग हाे सकती है। जबकि जीन एक्सपर्ट मशीन से हाेने वाली जांच के नतीजे अलग-अलग नहीं हाेते। भाेपाल में एक ही मरीज की तीन दिन में तीन अस्पतालाें से अलग - अलग जांच रिपाेर्ट आने के मामले की जांच कराएंगे।
- डाॅ. सरमन सिंह, डायरेक्टर, एम्स , भाेपाल
आरटीपीसीआर रिपोर्ट निगेटिव आई थी
काेराेना पाॅजिटिव रिपाेर्ट के साथ उदय यादव अस्पताल में 15 अक्टूबर काे भर्ती हुए थे। 16 अक्टूबर काे आरटीपीसीआर तकनीक से हुई जांच में उनकी रिपाेर्ट निगेटिव आई। काेविड हाॅस्पिटल में काेविड निगेटिव मरीज काे भर्ती नहीं रख सकते थे। इस कारण 17 अक्टूबर काे उनकी अस्पताल से छुट्टी कर दी।
- राजीव मिश्रा, डायरेक्टर, नाेबल हाॅस्पिटल
15 अक्टूबर काे उदय यादव ने अस्पताल काे काेराेना की जांच कराई थी। यह टेस्ट आरटीपीसीआर तकनीक से की गई। उनकी रिपाेर्ट काेविड पाॅजिटिव आई थी। इसके बाद वह दूसरे अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती हाे गए है।
- लाेकेश झा, मैनेजर, बंसल हाॅस्पिटल
होम आइसोलेशन में थे, तबीयत बिगड़ी तो अस्पताल गए, यहां रिपोर्ट के जाल में उलझे
मेरा भाई उदय यादव विक्रम अवार्डी हैं। वो रेलवे में कार्यरत हैं और इंटरनेशनल बास्केटबॉल खिलाड़ी रहे हैं। उनकी 1 अक्टूबर को फीवर क्लीनिक की रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी। 4 अक्टूबर तक वे होम आइसोलेशन में रहे, लेकिन सेहत बिगड़ने पर 5 अक्टूबर काे जेके हॉस्पिटल में भर्ती हुए। यहां उनका 9 दिन इलाज चला और 14 अक्टूबर को उनकी दूसरे जांच रिपोर्ट निगेटिव आई और अगले दिन उन्हें अस्पताल से डिस्चार्ज कर दिया गया। डिस्चार्ज के वक्त भी उदय लोगों को ठीक से नहीं पहचान पा रहे थे। इसलिए उन्हें बंसल अस्पताल ले गए। यहां उनका कोविड टेस्ट हुआ, जो पॉजिटिव आया। इसके बाद उन्हें कोरोना इलाज के लिए मिसरोद स्थित नोबल हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया। यहां 16 अक्टूबर को फिर उनका कोविड टेस्ट हुआ, जो निगेटिव आया। तब अस्पताल प्रबंधन ने मरीज को पॉजिटिव पेशेंट के बीच नहीं रखने की सलाह दी। उन्हें बताया गया कि अस्पताल में नॉन कोविड वार्ड नहीं है। इसलिए 17 अक्टूबर को शाम छह बजे उन्हें सिद्धांता रेडक्रॉस अस्पताल में भर्ती कराया गया।
-जैसा उदय यादव के भाई राजेश ने बताया
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